उपभोक्ता मामलों के विभाग ने कहा कि मंडियों में लगातार अच्छी मात्रा में आवक के बावजूद हाल के हफ्तों में टमाटर की खुदरा कीमत में तेजी से बढ़ोतरी हुई है. आंध्र प्रदेश, कर्नाटक और महाराष्ट्र जैसे प्रमुख उत्पादक राज्यों में लंबे समय तक मानसून के कारण बारिश हाल के हफ्तों में गुणवत्ता संबंधी चिंताएं पैदा हुई हैं.
बिचौलियों और मुनाफाखोरों की वजह से त्योहारी सीजन में खुदरा बाजार में 100 रुपये किलो तक पहुंचने वाले बेलगाम टमाटर की कीमतों पर अब लगाम लग जाएगा. सरकार ने आम आदमी को टमाटर की बढ़ती कीमतों से राहत दिलाने के लिए कठोर कदम उठाना शुरू कर दिया है. खबर है कि केंद्र सरकार ने सोमवार 7 अक्टूबर 2024 से ही देश की राजधानी दिल्ली में सस्ती दरों पर टमाटर की बिक्री करना शुरू कर दिया है. सरकार के इस कदम के बाद अब सब्जी का स्वाद बढ़ जाएगा और आम आदमी को बिचौलियों और मुनाफाखोरों की मार से राहत मिल जाएगी.
रांची में टमाटर 100 रुपये किलो
एशियानेट की एक रिपोर्ट के अनुसार, केंद्र सरकार ने आम आदमी को राहत देने और बिचौलियों की ओर से कमाए जाने वाले मुनाफे पर लगाम लगाने के लिए दिल्ली में 65 रुपये प्रति किलोग्राम की रियायती दर पर टमाटर बेचना शुरू कर दिया है. दिल्ली में टमाटर औसतन 90 रुपये किलो और झारखंड की राजधानी रांची में यह 100 रुपये किलो की दर से बिक रहा है. उपभोक्ता मामलों की सचिव निधि खरे ने दिल्ली में 65 रुपये प्रति किलोग्राम की दर से टमाटर बेचने वाली भारतीय राष्ट्रीय सहकारी उपभोक्ता संघ लिमिटेड (एनसीसीएफ) की वैन को हरी झंडी दिखाई.
तीन-चार दिनों में घट जाएंगी टमाटर की कीमतें
उपभोक्ता मामलों के सचिव ने कहा कि हम टमाटर की कीमतों को कम करने की कोशिश कर रहे हैं. बाजार हस्तक्षेप से अगले 3-4 दिन में टमाटर की कीमतें कम हो जाएंगी. एनसीसीएफ ने मंडियों से सीधे टमाटर खरीदकर और उन्हें 65 रुपये किलो की रियायती दर पर बेचकर बाजार हस्तक्षेप शुरू किया है. मोबाइल वैन दिल्ली की 50 कॉलोनियों में टमाटर बेचेगी. सरकार की ओर से यह हस्तक्षेप उपभोक्ताओं को टमाटर की कीमतों में हाल ही में हुई वृद्धि से बचाने और बिचौलियों को अप्रत्याशित लाभ कमाने से रोकने के लिए किया गया है.
अच्छी आवक के बावजूद बढ़ गई टमाटर की कीमत
उपभोक्ता मामलों के विभाग ने कहा कि मंडियों में लगातार अच्छी मात्रा में आवक के बावजूद हाल के हफ्तों में टमाटर की खुदरा कीमत में तेजी से बढ़ोतरी हुई है. आंध्र प्रदेश, कर्नाटक और महाराष्ट्र जैसे प्रमुख उत्पादक राज्यों में लंबे समय तक मानसून के कारण बारिश हाल के हफ्तों में गुणवत्ता संबंधी चिंताएं पैदा हुई हैं. इसमें कहा गया है कि इस उच्च मांग वाले त्योहारी मौसम में मौजूदा कीमत बढ़ोतरी में बाजार के बिचौलियों की संभावित भूमिका से इनकार नहीं किया जा सकता है. एनसीसीएफ देशभर के प्रमुख शहरों में खुदरा उपभोक्ताओं को सरकारी बफर से 35 रुपये प्रति किलोग्राम की दर से प्याज की आपूर्ति भी कर रहा है.