किसान पूरे देश में 15 अगस्त को ट्रैक्टर मार्च निकालने वाले हैं. एमएसपी को कानूनी गारंटी दिलाने के लिए किसान सरकार पर दबाव बना रहे हैं. इसके लिए वे एक अगस्त से 22 सितंबर तक देश के अलग-अलग हिस्सों में आंदोलन करेंगे. इसमें वे ट्रैक्टर मार्च भी निकालेंगे जिसके लिए ट्रैक्टर को मोडिफाई किया गया है.
किसान आंदोलन 2.0 की आहट तेज हो गई है. दरअसल, संयुक्त किसान मोर्चा ने 15 अगस्त यानी स्वतंत्रता दिवस को ट्रैक्टर मार्च निकालने का ऐलान किया है. साथ ही किसानों ने हरियाणा सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन की भी घोषणा की है. खास बात है कि राजधानी दिल्ली में साल 2021 में गणतंत्र दिवस के दौरान ट्रैक्टर रैली का आयोजन किया था. इसके चलते भारी हिंसा और तोड़फोड़ की खबरें सामने आई थीं. इस बार भी गणतंत्र दिवस पर ट्रैक्टर मार्च निकालने की अपील की गई है.
वहीं इस मामले को लेकर जालंधर में किसानों ने ट्रैक्टर मोडिफाई अभी से करने शुरू कर दिए हैं. मामले की जानकारी देते हुए एक किसान तजिंदर ने कहा कि ट्रैक्टर मार्च को लेकर वह ट्रैक्टर को मोडिफाई कर रहे हैं. किसान ने कहा कि 13 फरवरी से उन्हें हरियाणा सरकार ने रोक रखा है. उन्होंने कहा कि नए 3 काले कानून को लेकर रोष प्रदर्शन करना है. उन्होंने कहा कि पहले जिले में डीसी साहब धारा 144 लागू करते थे, लेकिन अब डीसी साहब की जगह डिप्टी साहब को वह पॉवर दे दी है. उन्होंने कहा कि यह खतरनाक कानून किसान और आम जनता के लिए लाए जा रहे हैं. किसान नेता ने कहा कि उन्होंने 15 अगस्त इसलिए चुना है ताकि अगर वे आजाद होते तो क्यों नहीं उन्हें शांति से दिल्ली जाकर प्रदर्शन करने दिया जाता.
हरियाणा सरकार से नाराजगी
हरियाणा सरकार ने काफी समय से बॉर्डर को बंद किया हुआ है, जिससे व्यापारी वर्ग सहित आम जनता को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. किसान ने कहा कि सरकार जनता के मसले हल करने के लिए होती है, उन्हें परेशान करने के लिए नहीं होती. उन्होंने कहा कि बॉर्डर पर कील लगा दी गई, ऊंची-ऊंची दीवारें खड़ी कर दी गई हैं. वहीं सरकार से साथ किसानों की मीटिंग को लेकर उन्होंने कहा कि वह मीटिंग करने के लिए तैयार हैं, लेकिन सरकार क्यों नहीं दोबारा उनके साथ मीटिंग कर रही है.
ट्रैक्टर को ऐसे किया मोडिफाई
वहीं किसान तजिंदर ने कहा कि 3 काले कानून को लेकर पीएम नरेंद्र मोदी ने खुद वापस लेने का आश्वासन दिया था, लेकिन अब तक क्यों नहीं वापस लिए गए. वहीं पराली से धुएं को लेकर किसान ने कहा कि फैक्ट्रियों से निकल रहे चिमनी के धुएं के खिलाफ क्यों नहीं एक्शन लिया जाता. उन्होंने कहा कि दोआबा कमेटी के आह्वान पर ट्रैक्टर मोडिफाई किए गए हैं. मोडिफाई ट्रैक्टर की खासियत यह है कि वह बह रहे दरिया में से गुजर जाते हैं. यह ट्रैक्टर पहाड़ों से भी गुजर सकते हैं. वहीं तजिंदर ने बताया कि इस ट्रैक्टर में बंपर मोडिफाई किए गए हैं. दरअसल, पिछली बार बंपर को काफी नुकसान हुआ था. वहीं ट्रैक्टर की पॉवर को बढ़ाया गया है.(दविंदर कुमार की रिपोर्ट)